Home » *राजस्थान में प्रियंका गांधी ने किए 2 बड़े चुनावी वादे, महिला वोटर्स को साधने की हुई भरपूर कोशिश*

*राजस्थान में प्रियंका गांधी ने किए 2 बड़े चुनावी वादे, महिला वोटर्स को साधने की हुई भरपूर कोशिश*

by Aditya Kumar

राजस्थान विधानसभा चुनाव में प्रियंका गांधी ने आज झूंझनूं के अरड़ावता में चुनावी रैली को संबोधित किया. प्रियंका गांधी ने रैली में सीधे प्रधानमंत्री पर निशाना साधा. प्रियंका की राजस्थान में यह तीसरी चुनावी रैली है. उनकी दो रैलियां पिछले एक सप्ताह में हुई हैं. जबकि चुनाव की तारीखों का ऐलान के बाद अब तक राहुल गांधी की एक भी रैली नहीं हुई है. कांग्रेस नेताओं के मुताबिक राजस्थान के उम्मीदवारों में प्रियंका गांधी बतौर प्रचारक मांग अधिक है।
कांग्रेस सूत्रों का दावा है कि हिमाचल प्रदेश और कर्नाटक में राहुल गांधी के बजाय प्रियंका गांधी ने चुनाव कैंपेन का मोर्चा संभाला था. कांग्रेस दोनों जगह जीती इसलिए अब राजस्थान में भी राहुल के बजाय प्रियंका गांधी को ही मैदान में उतारा जा रहा है. झूंझनूं से सचिन पायलट के करीबी नेता मंत्री विजेंद्र ओला कांग्रेस प्रत्याशी हैं. प्रियंका गांधी की पांच दिन में राजस्थान में दूसरी चुनावी रैली है. इससे पहले प्रियंका गांधी ने 20 अक्टूबर को दौसा के सिकराय में रैली की थी.
पायलट प्रियंका के करीबी माने जाते हैं
दौसा से सचिन पायलट सांसद रहे चुके हैं. दौसा पायलट के प्रभाव वाला क्षेत्र माना जाता है. पिछले महीने टोंक के निवाई में प्रियंका गांधी ने रैली की थी. टोंक सचिन पायलट का निर्वाचन क्षेत्र है. पायलट टोंक से ही विधायक और इस बार कांग्रेस प्रत्याशी हैं. पायलट के प्रभाव वाले मजबूत इलाकों में प्रियंका गांधी की रैलियां करवाई जा रही है. सचिन पायलट प्रियंका गांधी के करीबी माने जाते हैं।
पायलट को सीएम बनवाने का प्लान भी प्रियंका का था
गहलोत-पायलट के बीच सत्ता संघर्ष के दौरान प्रियंका गांधी का समर्थन पायलट को ही रहा. पिछले साल सितंबर में गहलोत को हटाकर पायलट को सीएम बनाने का प्लान भी प्रियंका गांधी का ही था. इसलिए प्रियंका गांधी आज भी झूंझनू की रैली में यह इशारा करना नहीं भूली कि गहलोत अनुभवी नेता है. काम किया है लेकिन पायलट नौजवान नेता हैं. इससे पहले दौसा की रैली में तो प्रियंका ने पायलट को नौजवानों के भविष्य का नेता कहा था। प्रियंका गांधी की अधिक रैलियां हो रही हैं
कांग्रेस के नेताओं का कहना है कि उम्मीदवार प्रियंका की रैलियां अधिक चाहते हैं. इसलिए प्रियंका गांधी की अधिक रैलियां हो रही हैं. हालांकि ये शुरुआत है लेकिन संकेत भी है. टिकट बंटवारे के बाद राहुल गांधी से लेकर कांग्रेस के तमाम दिग्गज चुनाव प्रचार के लिए मैदान में कूदेंगे. लेकिन अंदरखाने कांग्रेस के नेता प्रियंका गांधी की अधिक रैलियां करवाना चाहते हैं. पीएम मोदी पर भी अटैक प्रियंका गांधी से अधिक करवाना चाहते हैं ताकि बीजेपी का फोकस अकेले राहुल गांधी से कुछ कम हो। प्रचार में प्रियंका भारी रह सकती है
सचिन पायलट गुट मजबूत सीटों पर प्रियंका गांधी की अधिक रैलियां करवाता है तो चुनाव नतीजों के बाद जब राहुल-प्रियंका की रैलियों के दौरे का असर जीत के आंकड़े से मापा जाएगा तो मजबूत सीटों पर प्रचार में प्रियंका भारी रह सकती है. कांग्रेस के नेता तर्क दे रहे हैं कि प्रियंका गांधी ने हिमाचल और कर्नाटक में प्रचार किया तो कांग्रेस चुनाव जीती. राहुल गांधी भारत जोड़ो यात्रा में व्यस्त होने के कारण हिमाचल नहीं गए और कर्नाटक में भी अधिक प्रचार नहीं किया।

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